प्रसाद शुगर की नींव इस उद्देश्य से रखी गई थी कि वह भारतीय चीनी उद्योग में विश्वास और सम्मान का पर्याय बने। समय के साथ, कंपनी ने अपना विस्तार किया और चीनी उत्पादन, एथेनॉल (अल्कोहल) निर्माण, बिजली सह-उत्पादन और डिस्टिलरी संचालन जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में अपनी पकड़ मजबूत की।
गुणवत्ता, पारदर्शिता और सतत् विकास की प्रतिबद्धता के साथ, प्रसाद शुगर एक ऐसा भविष्य तैयार संगठन बना रहा है, जो परंपरागत मूल्यों पर आधारित है और आधुनिक तकनीक से संचालित है।
किसान सशक्तिकरण पर आधारित
माननीय श्री बाबूराव दादा तनपुरे के दूरदर्शी नेतृत्व और माननीय सांसद श्री बापूसाहेब तनपुरे के प्रगतिशील मार्गदर्शन में, प्रसाद शुगर की स्थापना इस उद्देश्य से हुई कि किसानों को उनकी उपज, विशेषकर गन्ने का उचित मूल्य मिल सके।
कंपनी गन्ने जैसी कच्ची उपज का प्रसंस्करण कर चीनी, मली, फ़िल्टर केक, आर.एस. और एथेनॉल जैसे उत्पाद बनाती है, जिससे मूल्य वृद्धि होती है और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को सहयोग मिलता है।
क्षमता एवं प्रगति की उपलब्धियाँ
प्रसाद शुगर की शुरुआत 2012 में एक ट्रायल क्रशिंग सीज़न से हुई, जिसमें गन्ना पेराई की क्षमता 2,500 मीट्रिक टन प्रतिदिन थी।
बढ़ती मांग और संचालन की सफलता को देखते हुए, वर्ष 2016 में संयंत्र की क्षमता बढ़ाकर 4,000 मीट्रिक टन प्रतिदिन कर दी गई। यह विकास कंपनी की संचालन क्षमता को लगातार बढ़ाने की प्रतिबद्धता को दर्शाता है, साथ ही गुणवत्ता और दक्षता बनाए रखने पर उसके ध्यान को भी रेखांकित करता हैं
कृषि सशक्तिकरण सतत विकास
हमारी प्रत्येक गतिविधि में उच्चतम गुणवत्ता मानकों का अनुपालन किया जाता है। हमारे संयंत्र आधुनिक ऑटोमेशन और गुणवत्ता नियंत्रण प्रणालियों से लैस हैं, जो अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुसार कार्य करती हैं
हम मानते हैं कि हमारे कर्मचारी ही हमारी असली पूँजी हैं हमारी मानव संसाधन नीतियों में निरंतर प्रशिक्षण, कौशल वृद्धि, नेतृत्व विकास और प्रोत्साहन-आधारित प्रेरणा शामिल है। हमारी कार्य-संस्कृति भागीदारी पर आधारित है, जहाँ प्रत्येक व्यक्ति की भूमिका हमारी सामूहिक प्रगति के लिए महत्वपूर्ण होती है।
हम पर्यावरण-संवेदनशील उद्यम के रूप में अपनी जिम्मेदारियाँ निभाते हैं। हमारी डिस्टिलरी और चीनी इकाइयाँ निम्नलिखित को समाहित करती हैं:
हमारा ग्रीन बेल्ट विकास, मृदा समृद्धि कार्यक्रम और जल संचयन पहलें हमारे सतत संचालन तथा सामुदायिक पारिस्थितिकी के प्रति हमारी प्रतिबद्धता को दर्शाती हैं।
सुरक्षा हमारे कार्य-सिद्धांत का अहम हिस्सा है। हम प्रसाद शुगर में प्रत्येक इकाई में श्रमिकों, उपकरणों और पर्यावरण की रक्षा हेतु कड़े सुरक्षा मानकों का अनुपालन करते हैं। हम नियमित प्रशिक्षण, अभ्यास ड्रिल और बाहरी ऑडिट के माध्यम से पूरे संगठन में दुर्घटनारहित कार्य-संस्कृति को बढ़ावा देते हैं।
नवाचार ही हमारी प्रतिस्पर्धात्मकता की प्रेरक शक्ति है। हमारी आर एंड डी इकाइयाँ मुख्यतः इन बिंदुओं पर ध्यान देती हैं:
कृषि विश्वविद्यालयों और शुगर रिसर्च संस्थानों से हमारा सहयोग हमें विज्ञान की श्रेष्ठ तकनीकों को खेतों और कारखानों तक पहुँचाने में मदद करता है।
हम घरेलू और औद्योगिक दोनों प्रकार के ग्राहकों की सेवा करते हैं तथा भारत की ऊर्जा और खाद्य सुरक्षा ढाँचों में महत्वपूर्ण योगदान देते हैं।